जो गुरु शरीर को स्पर्श करे वह पाखंडी है, संत नहीं...प्रेमानंद महाराज के कठोर शब्द....जानें ऐसा क्यों कहा

जो गुरु शरीर को स्पर्श करे वह पाखंडी है, संत नहीं...प्रेमानंद महाराज के कठोर शब्द....जानें ऐसा क्यों कहा

आगरा। प्रसिद्ध संत प्रेमानंद महाराज का एक बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है, जिसमें उन्होंने कथित ढोंगी बाबाओं और धर्म के नाम पर महिलाओं का शोषण करने वाले तथाकथित गुरुओं पर तीखा प्रहार किया है।

उन्होंने स्पष्ट शब्दों में कहा कि जो गुरु तुम्हारे शरीर को छूने की चेष्टा करे, अनैतिक संबंध बनाने की कोशिश करे तो वह गुरु नहीं, पाखंडी है। वह वासनाओं की पूर्ति के लिए संत का भेष धारण किए हुए है। उनके इस बयान के बाद वृंदावन समेत समूचे संत समाज में हलचल मच गई है।
प्रेमानंद महाराज ने आगे कहा कि जो शोषण करे वह संत नहीं हो सकता। असली संत वह है, जो आपके विचारों को पवित्र कर दे, जीवन की दिशा को मोड़ दे और आत्मिक उन्नति का मार्ग दिखाए। जो सिर्फ देह को छूने का लोभ रखे, वह गुरु नहीं, समाज का कलंक है। ऐसे पाखंडियों को तुरंत त्याग देना चाहिए।